सोमवार की रात आसनसोल शिलांचल के मिठानी क्षेत्र में लोगों ने एक दुर्लभ खगोलीय घटना का साक्षी बनते हुए इतिहास रच दिया। आसमान में दिखा चंद्र ग्रहण न केवल बच्चों बल्कि युवाओं और बुजुर्गों के लिए भी रोमांचक क्षण लेकर आया।
📌 उमड़ा उत्साह, लोगों ने किया विशेष इंतजाम
ग्रहण को देखने के लिए स्थानीय क्लबों और स्कूलों ने भी दूरबीन और प्रोजेक्टर लगाए, ताकि ज्यादा से ज्यादा लोग इस अनोखे नजारे का आनंद ले सकें। बच्चे अपने माता-पिता के साथ खगोलीय दृश्य को देख उत्साहित हो उठे।
📌 बुजुर्ग बोले – जीवन का अनोखा अनुभव
कई बुजुर्गों ने कहा कि उन्होंने अपने जीवन में पहली बार इस तरह का पूर्ण चंद्र ग्रहण इतने साफ और नजदीक से देखा। कुछ लोग इसे ऐतिहासिक अनुभव बताते हुए अपने मोबाइल और कैमरे से तस्वीरें भी खींचते नजर आए।
📌 अंधविश्वास से सावधान रहने की अपील
क्षेत्र की कई महिलाओं ने बताया कि आज भी चंद्र ग्रहण से जुड़ी कई भ्रांतियां और अंधविश्वास समाज में प्रचलित हैं। उन्होंने लोगों से अपील की कि ग्रहण को केवल वैज्ञानिक दृष्टिकोण से देखें और इसे ज्ञानवर्धक अवसर के रूप में अपनाएं।
📌 शिक्षा और विज्ञान के लिए अवसर
ग्रहण को देखने के बाद स्थानीय शिक्षकों ने कहा कि इस तरह की घटनाएं बच्चों में विज्ञान के प्रति जिज्ञासा और शोध की भावना जगाने में मदद करती हैं। इस मौके को कई छात्रों ने ‘प्राकृतिक प्रयोगशाला’ बताते हुए नोट्स भी बनाए।
📌 आसमान का जादुई नजारा बना चर्चा का विषय
सोशल मीडिया पर भी लोगों ने चंद्र ग्रहण की तस्वीरें और वीडियो साझा किए। मिठानी का नाम अब स्थानीय स्तर पर खगोलीय अध्ययन का केंद्र बन गया है।












